छत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़ के सुकमा में नक्सलियों का आतंक, गांव में घुसकर की दो ग्रामीणों की हत्या 

 

रायपुर। छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले में नक्सलियों ने एक बार फिर खौफ का माहौल बना दिया है. सोमवार देर रात नक्सलियों ने सिरसेटी गांव में दो ग्रामीणों की हत्या कर दी. इस वारदात से इलाके में दहशत फैल गई है. पुलिस अधिकारियों ने मंगलवार को इसकी पुष्टि की है.

पुलिस कर रही है घटना की जांच
पुलिस के मुताबिक, सुकमा जिले के केरलापाल थाना क्षेत्र के अंतर्गत सिरसेटी गांव से दो ग्रामीणों की हत्या की सूचना मिली है. शुरुआती जानकारी के अनुसार, नक्सलियों ने गांव में घुसकर दोनों ग्रामीणों को मौत के घाट उतार दिया. हालांकि किस वजह से यह हत्या की गई, इसकी अभी पुष्टि नहीं हो पाई है. पुलिस का कहना है कि वे घटना की जांच कर रहे हैं और आगे की जानकारी जल्द साझा की जाएगी.

बस्तर में लगातार बढ़ रही नक्सली हिंसा
सुकमा सहित बस्तर संभाग के 7 जिलों में नक्सली घटनाओं का सिलसिला थम नहीं रहा है. इस साल अब तक करीब 35 लोग नक्सली हिंसा में अपनी जान गंवा चुके हैं. इनमें ग्रामीण, सुरक्षाबल और सरकारी कर्मचारी शामिल हैं. लगातार हो रही वारदातों ने आम लोगों में डर और असुरक्षा का माहौल बना दिया है.

शिक्षादूत भी बने निशाना
बीते दिनों नक्सलियों ने शिक्षादूतों (सरकारी स्कूलों में अस्थायी अतिथि शिक्षक) को भी निशाना बनाया. 29 अगस्त को बीजापुर में नक्सलियों ने एक शिक्षादूत का अपहरण कर हत्या कर दी थी.

इससे पहले 27 अगस्त को सुकमा जिले में भी एक शिक्षादूत की हत्या हुई थी. इन घटनाओं से साफ है कि नक्सली न सिर्फ सुरक्षाबलों को बल्कि समाज के कमजोर वर्गों और ग्रामीणों को भी डरा-धमका कर अपनी पकड़ बनाए रखना चाहते हैं.

ग्रामीणों में दहशत, सरकार के सामने चुनौती
लगातार हो रही हत्याओं से गांव के लोग सहमे हुए हैं. सिरसेटी गांव के आसपास के इलाके के लोग भी अब खौफ के साए में जी रहे हैं. सरकार और पुलिस प्रशासन के लिए यह बड़ी चुनौती है कि वह ग्रामीणों का भरोसा कैसे बनाए और उन्हें सुरक्षा का एहसास दिलाए.

हाल के महीनों में नक्सली घटनाओं की संख्या बढ़ने से सरकार की नक्सल विरोधी रणनीति पर भी सवाल उठ रहे हैं. सुरक्षाबलों के लगातार अभियान के बावजूद नक्सली कई इलाकों में सक्रिय हैं और मासूम लोगों की जान ले रहे हैं.

फिलहाल पुलिस इस मामले की जांच कर रही है. लेकिन लगातार हो रही वारदातें बता रही हैं कि बस्तर में नक्सलियों का खतरा अभी भी पूरी तरह खत्म नहीं हुआ है. आने वाले दिनों में सरकार और सुरक्षाबलों के सामने बड़ी चुनौती होगी कि वे कैसे नक्सलियों पर नकेल कसें और आम लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करें.

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