रायगढ़, 22 जनवरी 2025/ धरमजयगढ़ परिक्षेत्र के ग्राम-क्रोन्धा में आनंद राम के राठिया द्वारा अपने खेत में तार बिछाकर विद्युत करेंट प्रवाहित किया गया था, जिससे एक जंगली हाथी की मृत्यु हो गई। घटना पश्चात आरोपी को गिरफ्तार कर नियमानुसार न्यायिक मजिस्टेट प्रथम श्रेणी न्यायालय धरमजयगढ़ के समक्ष पेश किया गया। वन्यप्राणी संरक्षण अधिनियम के उलंघन करने पर माननीय न्यायालय ने 14 दिन की न्यायिक रिमांड देते हुए आरोपी को 22 जनवरी 2025 को जिला जेल रायगढ़ दाखिला हेतु आदेश किया गया।
वन मंडलाधिकारी धरमजयगढ़ वनमंडल ने जानकारी देते हुए बताया कि 21 जनवरी 2025 को क्रोन्धा परिसर ग्राम क्रोन्धा के राजस्व क्षेत्र खामनारा नामक स्थान में 01 नग नर हाथी के मृत्यु की सूचना परिसर रक्षक क्रोन्धा से प्राप्त हुई। वन परिक्षेत्राधिकारी धरमजयगढ द्वारा उक्त घटना की सूचना तत्काल उच्चाधिकारियों को देते हुए पशु चिकित्सकों की टीम एवं विद्युत विभाग के अधिकारियों/कर्मचारियों को भी सूचित किया गया। मौका स्थल पर जांच करने पर पता चला कि 20 जनवरी 2025 को छाल वन परिक्षेत्र के खडगांव परिसर कक्ष क्रमांक 594 आर एफ में 13 हाथियों का दल (गौतमी दल) विचरण कर रहा था जिसकी लगातार ट्रेकिंग की जा रही थी एवं आस पास के ग्रामीणों को हाथी विचरण की जानकारी दी जा रही थी।
21 जनवरी 2025 को उक्त गौमती दल के 01 नग हाथी उम्र लगभग 10 वर्ष की मृत्यु श्री आनंद राम वल्द पिरित राम राठिया साकिन क्रोन्धा के खेत में होना पाया गया। जांच के दौरान श्री आनंद राम राठिया के द्वारा अपने खेत में तार बिछाकर विद्युत करेंट प्रवाहित किया गया था, जिससे हाथी की मृत्यु होना पाया गया। मृत हाथी के सूंड में विद्युत तार चिपका हुआ था एवं सूंड में विद्युत करेंट से जलने का निशान मिला। विद्युत करेंट प्रवाहित करनें संबंधी तार, खूंटा, बैटरी, झटका, पैनल चार्जर मौका स्थल पर मिला जिसे नियमानुसार जप्ती की कार्यवाही किया गया। मृत हाथी की पोस्टमार्टम पशु चिकित्सकों की टीम द्वारा किया गया। वन मंडलाधिकारी एवं उप वनमंडलाधिकारी के उपस्थिति में विधिवत् मृत हाथी के कफन-दफन की कार्यवाही किया गया।
उक्त घटना के संबंध में वन अपराध प्रकरण क्रमांक 14138/10 दिनांक 21 जनवरी 2025 दर्ज कर आरोपी से पूछताछ किया गया। पूछताछ के दौरान आरोपी आनंद राम वल्द पिरित राम राठिया साकिन क्रोन्धा द्वारा फैलाये गये अवैध विद्युत तार से जंगली हाथी की मृत्यु होना स्वीकार किया गया। तत्पश्चात आरोपी को गिरफ्तार कर नियमानुसार न्यायिक मजिस्टेट प्रथम श्रेणी न्यायालय धरमजयगढ़ के समक्ष पेश किया गया। वन्यप्राणी संरक्षण अधिनियम 1972 की धारा-2,9,39,51 एवं 52 के उलंघन करने पर माननीय न्यायालय ने 14 दिन की न्यायिक रिमांड देते हुए आरोपी को दिनांक 22 जनवरी 2025 को जिला जेल रायगढ़ दाखिला हेतु आदेश किया गया। आरोपी को जिला जेल रायगढ़ दाखिला करते हुए प्रकरण को अग्रिम कार्यवाही के लिए लिया गया। धरमजयगढ वन मंडल हाथी प्रभावित क्षेत्र होने के कारण लगातार ग्रामीणों को हाथियों के विचरण की जानकारी हाथी मित्र दल, हाथी ट्रेकरों एवं क्षेत्रीय वन कर्मचारियों द्वारा सतत् रूप से दी जा रही है। हाथी से बचाव हेतु राहगीरों एवं जनता को सतर्क किया जा रहा है।