रायगढ़. रेंगालपाली-बिलासपुर तक बनी नेशनल हाइवे की सड़क में झलमला में बने टोल गेट बुधवार से शुरू हो गया है। यहां रोजाना 4 हजार गाड़ियांे की आवाजाही है, जिन्हें टोल-टैक्स देना होगा। इसमें दो माह पहले ही इसका एक सर्वे कराया, जिसमें टोल नाका से इतनी गाड़ी जाने का अनुमान था।
उसमें सिर्फ एम्बुलेंस, पुलिस की गाड़ी और फायर बिग्रेड और प्रशासनिक, पुलिस, सरकार के सीरिज और सरकारी की गाड़ियों को ही आवाजाही में छूट मिलेगी। कहा जा रहा है कि नेशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एनएचएआई) अगले 15 सालों तक टैक्स लेगा। हालांकि इसपर निर्णय केन्द्र सरकार रहता है। अभी एक गुड़गांव की एक कंपनी को ट्रॉयल के लिए तीन माह चलाने के लिए दिया गया है। इसके बाद हर साल टोल गेट चलाने के लिए कंपनियों को टेंडर दिया जाता रहेगा।
बेलपहाड़ में कम टोल टैक्स लेकिन रायगढ़ में ज्यादा लगेगा
रायगढ़ से झारसुगड़ा यदि आप जाते है तो बेलपहाड़ टोल टैक्स देना होता है। उसमें कार और फोर व्हीलर के लिए 85 रुपए की लागत लगती है। इसमें जाते समय 55 रुपए लगता है, उसी दिन वापसी होती है तो 30 रुपए लगता है, लेकिन रायगढ़ के झलमला में जो टोलगेट लगा है। उसमें 1 बार गुजरने के लिए 65 रुपए लगता है और 1 दिन में जाने के बाद वापसी होने पर कुल 100 रुपए देने होंगे। एक दिन में यदि आते है तो झारसुगड़ा से रायगढ़ तक एक दिन के आने-जाने में ही 185 रुपए लगेगा।
रोजाना 7 लाख 66 हजार की वसूली: रोजाना इस सड़क में 7 लाख 66 हजार रुपए का टोल से टैक्स वसूली होगी, लेकिन सड़क परिवहन मंत्रालय गाईडलाइन के अनुसार इससे कम यदि टैक्स वसूली होती है, तो टोल टैक्स वसूली करने वाली एजेंसी को ही उसे देना पड़ेगा। उससे अधिक यदि गाड़ियां जाती है तो टैक्स मिलता है तो वह एजेंसी का फायदे में जोड़ा जाएगा।
4 साल तक कंपनी ही करेगी मेंटेनेंस का काम
बिलासपुर से रेंगालपाली तक 160 किलोमीटर की सड़क को हैदराबाद की कंपनी ने 298.80 करोड़ रुपए की लागत से बनाई गई है। नेशनल हाइवे के प्रभारी एसडीओ बीएस भदौरिया ने बताया कि अभी हैदराबाद की जिस एजेंसी ने यह सड़क बनाई है, वहीं अगले चार सालों तक परफॉर्मेंस गारंटी के तहत सड़क की मरम्मत कराएगी, उसे परफॉर्मेंस गारंटी मई से शुरू हो चुकी है। 4 सालों के बाद इस सड़क को मेंटेनेंस कराने के बाद उसे एनएचएआई खुद इस सड़क को देखेगी।