पत्थलगांव को जिला बनाने की मांग को लेकर ईसाई आदिवासी महासभा का बड़ा आंदोलन,विशाल रैली निकाल कर किया प्रदर्शन,देश का पहला निवासी आदिवासी और जिला नहीं तो वोट नहीं के नारे से गुंजयमान हुआ समूचा पत्थलगांव

0
44

पत्थलगांव । बीते कई दशकों से पत्थलगांव जिला बनाने की मांग को लेकर हर वर्ग,समुदाय के लोगों द्वारा अपनी अपनी आवाज लगातार बुलंद की जाती रही है। विदित हो कि अविभाजित मध्यप्रदेश के वक्त से ही लोगों द्वारा अभियान,धरना,आंदोलन का रुख अपनाया जा चुका है। मगर आजतलक पत्थलगांव को जिला बनाने की बहुप्रतीक्षित मांग पूरी ना होना या यूं कहें कि पत्थलगांव को जिला नहीं बन पाने से यहां के विकास में चार चांद नहीं लग पा रहा। पूर्व में भी कई बार पत्थलगांव को जिला बनाओ की मांग को लेकर लोग सड़कों में उतर चुके है। वहीं अब पत्थलगांव को जिला बनाने की मांग को लेकर सड़कों में भारी संख्या में नारों के साथ आज रविवार को ईसाई आदिवासी महासभा के बैनर तले शहर के सेंट जेवियर्स स्कूल ग्राउंड से विशाल जनसमूह के साथ रैली निकाली गई। जिसमे सैंकड़ों की संख्या में लोगों की भीड़ उमड़ पड़ी।  इस दौरान रैली में लोगों के हाथों में “पत्थलगांव को जिला बनाओ समेत अन्य तख्तियों के माध्यम से सड़कों में नारे गूंज रहे थे। वहीं रैली को लेकर पत्थलगांव पुलिस प्रशासन समेत जिले के अन्य क्षेत्रों से पहुंची पुलिस ने यातायात एवं सुरक्षा व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए चप्पे चप्पे पर तैनात रही।

ज्ञात हो कि राजनीतिक दलों की ओर से पत्थलगांव जिला बनाने को लेकर अब तक कोई खास पहल नहीं हो पाई है। विगत कई वर्षों से लोग पत्थलगांव को जिला बनाने को लेकर अपनी आवाज बुलंद करते रहे हैं। मगर चुनाव सामने आते ही जिला बनाने के नाम पर पत्थलगांव को ठगा जाता रहा है। दरअसल पत्थलगांव के जिला बनने से यहां विकास की गति तेज होगी जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में शिक्षा,स्वास्थ्य सहित अन्य मूलभूत सुविधा से लोगों को वंचित नहीं होना पड़ेगा। पत्थलगांव जिला बनाए जाने पर यह व्यावसायिक व आर्थिक दृष्टि से विकसित जिला बन सकता है।























इस दौरान ईसाई आदिवासी महासभा प्रदेश विधिक सलाहकार स्मृति खलखो ने कहा है कि आए दिनों लोग अपने सरकारी कार्यों संबंधित दस्तावेजों के काम से पत्थलगांव से 100 किलोमीटर की दूरी पर स्थित जिला मुख्यालय जशपुर में जाकर अपने कार्यों को पूर्ण कराते हैं वहीं पत्थलगांव से करीब 100 किलोमीटर दूर रायगढ़ एवं 100 किलोमीटर की दूरी पर अंबिकापुर जिला है। जिससे विषम परिस्थितियों में भी समय और रुपयों के खर्च होने से लोगों को मानसिक और शारीरिक परेशानी उठानी पड़ रही है। उन्होंने कहा आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र होने के बावजूद पत्थलगांव वासी चीख चीख कर कह रहे है कि जिले की सौगात कब मिलेगी। उनका कहना है कि बीते कई दशकों से क्षेत्रवासी अब अपनी मांग पूर्ण नहीं होने पर स्वयं को ठगा हुआ महसूस कर रहे हैं। पूर्ववर्ती सरकार ने इन बातों पर अमल नहीं किया वहीं अब 2018 के विधानसभा चुनाव के बाद से अब तक पत्थलगांव को जिला बनाने को लेकर कोई विशेष पहल नहीं होना क्षेत्रवासियों के लिए एक बड़ी विडंबना है।उन्होंने कहा है कि जो पत्थलगांव का विकास करेगा और पत्थलगांव को जिला बनाएगा वही विधायक राज करेगा। पूर्व में भी सरकारी माध्यम से कई बार पत्थलगांव को जिला बनाए जाने के संकेत दिए जाते रहे हैं। वहीं अब तक पत्थलगांव को जिला नहीं बनाए जाने से लोग उपेक्षित महसूस कर रहे है।

इस दौरान ईसाई आदिवासी महासभा पत्थलगांव ब्लॉक अध्यक्ष सुरेंद्र तिर्की समेत अन्य पदाधिकारीयों ने एसडीएम व तहसीलदार के माध्यम से मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के नाम ज्ञापन सौंपा है। दिए गए ज्ञापन में उल्लेख है कि उदयपुर क्षेत्र के जनता की मांग लम्बे समय से पत्थलगांव को जिला बनाने की रही है, जो आज पर्यन्त तक अपूर्ण है। पत्थलगांव को जिला बनाने की मांग का प्रमुख कारण यह है कि, पत्थलगांव क्षेत्र का मुख्यालय से जशपुर अम्बिकापुर और रायगढ़ लगभग सौ किलोमीटर की दूरी है । और साथ ही बदहाल सड़कों की स्थिति के कारण क्षेत्र की जनता को कई समस्याओं का सामना करना पड़ता है। पत्थलगांव क्षेत्र से हमारा तात्पर्य पुराना उदयपुर क्षेत्र से है। पुराना उदयपुर को मिलाकर जिला बनाया जाए। जिसमें निम्न विकासखण्ड शामिल होना है। पत्थलगाँव कांसबेल, बागबहार लैलूंगा, धरमजयगढ़ और सीतापुर आदि। वहीं ज्ञापन के माध्यम से ईसाई आदिवासी महासभा ने ज्ञापन के माध्यम से कहा है कि मुख्यमंत्री महोदय से सादर निवेदन है कि, पत्थलगांव को जिला बनाने की बहुप्रतीक्षित जनता की मांग को तत्काल पूरा करने की कृपा करें।



































LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here