CG News: सोशल मीडिया पर बने रिश्ते ने युवती को ठगा, 5 लाख रुपये की धोखाधड़ी

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कोरबा, 04 अक्टूबर 2024: सोशल मीडिया पर शुरू हुआ एक रिश्ता कोरबा की एक शिक्षिका के लिए भारी पड़ गया। एक व्यक्ति ने प्यार का झांसा देकर युवती का मानसिक भयादोहन किया और उससे 5 लाख रुपये की ठगी कर ली। यह घटना कोरबा के सिटी कोतवाली थाना क्षेत्र की है, जहां पीड़िता वर्तमान में पड़ोसी जिले में शिक्षिका के रूप में कार्यरत है।











पीड़िता के अनुसार, वर्ष 2022 में उसकी पहचान व्हाट्सएप और फेसबुक के माध्यम से देवरीखुर्द, बिलासपुर निवासी धर्मेन्द्र वस्त्रकार से हुई। धीरे-धीरे दोनों के बीच बातचीत बढ़ी और धर्मेन्द्र ने उसे कटघोरा के चकचकवा पहाड़ी में मिलने बुलाया, जहां उसने उनकी मुलाकात के दौरान फोटो और वीडियो बनाए। धर्मेन्द्र ने अपने आपको अविवाहित और आर्थिक रूप से कमजोर बताते हुए पीड़िता से नजदीकियां बढ़ाईं।

फरवरी 2022 में धर्मेन्द्र ने पीड़िता को पुनः चकचकवा पहाड़ी बुलाया और इस दौरान और भी फोटो और वीडियो बनाए। इसके बाद उसने अपनी जरूरत बताकर 25,000 रुपये की मांग की, जो पीड़िता ने मौके पर ही उसे दे दिए। इसके बाद धर्मेन्द्र ने पीड़िता को ब्लैकमेल करना शुरू कर दिया। उसने धमकी दी कि अगर उसे पैसे नहीं दिए गए तो वह उसके फोटो और वीडियो को इंटरनेट पर वायरल कर देगा। इसी तरह मार्च 2022 में उसने 5,000 रुपये फिर से ऐंठ लिए।

धर्मेन्द्र की धमकियों का सिलसिला यहीं नहीं रुका। उसने इसी तरह पीड़िता को बार-बार ब्लैकमेल करते हुए 8 सितंबर 2024 तक कुल 5 लाख रुपये ठग लिए। पीड़िता को डर था कि उसके फोटो और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल कर दिए जाएंगे, इसलिए उसने नगद 1,70,000 रुपये और फोन पे के माध्यम से 3,30,000 रुपये धर्मेन्द्र को दिए।

इस मामले की शिकायत मिलने पर कटघोरा पुलिस ने धर्मेन्द्र वस्त्रकार के खिलाफ धारा 308(2) BNS के तहत मामला दर्ज कर लिया है। पुलिस ने जांच शुरू कर दी है और आरोपी की तलाश की जा रही है।

यह घटना सोशल मीडिया के माध्यम से होने वाली धोखाधड़ी और ब्लैकमेलिंग के खतरों की ओर इशारा करती है। पुलिस ने नागरिकों से अपील की है कि वे सोशल मीडिया पर अजनबियों से संबंध स्थापित करते समय सतर्क रहें और ऐसी किसी भी गतिविधि की जानकारी तुरंत पुलिस को दें।

इस घटना ने एक बार फिर से साबित कर दिया है कि सोशल मीडिया पर बनते रिश्ते कभी-कभी खतरनाक भी साबित हो सकते हैं, खासकर तब जब इनका इस्तेमाल धोखाधड़ी और ब्लैकमेलिंग के लिए किया जाए।















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